Sunday, October 8, 2017

भौतिक अस्तित्व छोटी सी घटना है

अगर आप दिन में आकाश की ओर देखते हैं तो सूरज दिखाई देता है। आपके अनुभव में वह सबसे अधिक प्रबल होता है।
रात में अगर आप ऊपर देखते हैं तो तारे आपके अनुभव में सबसे अधिक प्रबल होंगे, लेकिन सूरज और तारे दोनों ही – और सूरज भी एक तारा ही है – विराट आकाश की तुलना में बहुत तुच्छ हैं। हालांकि आम तौर पर यह कभी आपके अनुभव में नहीं आता। तो आकाश की विशालता का ही वास्तविक अस्तित्व है। सूरज, तारे, आप और मैं – हम सभी सिर्फ छोटी-छोटी घटनाएँ हैं, वाकई में क्षणिक घटनाएँ हैं हम।
आज आधुनिक विज्ञान आपको यह कह रहा है कि सूरज की भी एक आयु है। यह स्वयं जल कर धीरे-धीरे खत्म हो रहा है। जैसे कि आप अपने जीवन को जला कर खत्म करते जा रहे हैं, उसी प्रकार सूरज को भी बुखार चढ़ा है और वह भी अपने जीवन को जला कर खत्म कर रहा है। आपका सामान्य तापमान अट्ठनवे दशमलव छह डिग्री फॉरेनहाइट है, सूर्य का सामान्य तापमान एक करोड़ पचास लाख डिग्री सेल्सियस है – लेकिन उसकी भी एक आयु है। वह भी जल रहा है। एक दिन वह पूरी तरह जल जाएगा। तो आप जो कुछ भौतिक अस्तित्व के रूप में देख रहे हैं, वह सिर्फ एक छोटी-सी घटना है। वास्तविक अस्तित्व एक विस्तार है, एक रिक्तता है।

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